ৰিয়ামুন্দর ।
भूलाँकछ भकखिबी
বিদ্যা দর্শনে কুন্দরের মোহ ।
fक छन्**ी भवत्र वनि क्लब थfन *रछ ?
●1ष ४tरू *छ नrह मा*ि ब:ह कrछ ॥ धदा की* डूङ *न नवडौन नकै ? श्वाञ्चवड झीt*** {बचtथइ चf* * जानाडूत्र डिजकून हिचाकूल *च । दी जान्* ऋषां★नै ८णांत्रष्ट*विष * कछायऔी विक अनि डू १छलियों★क * कृन्न जइ कायपइ .हबड़इ नएच * কাগিছি শুকপুৰী গুৰুপস্থি কৃঙ্গ । बक्दद अमाछद थःश्tथ्नद ड* * भु*५ड tधtश्रदूक 3 अकूड cब{च ।
• कहरु १ाझ खकुन्ताझ छक्याथ 5 कि ?
令演
تدعمهنيه wتهم ليبيمبيباتي
বিদ্যা কর্তৃক ভগবতীর স্তব । रिज ड५बडी मडी ' कुछtबfन लचबकि
क ब्लड{ञांद!र की कt*** }
अञ्चह छ: झुङ्गाइ? फूदि अञ्चः दिङ्क फूथि छब ? ofश् च हृशि श्ि ह*ाइ* कश्नों कछ। ुझि प्रख्n शिश: श्छिtहषैौ ॥ फूदि *लाफ़ * नेिकू कृथि दक् िपूवि झेयू अद*छ अथ * st aविशेौ ?
फूदि अव्छ जूबि cमद धझाथाशी छगाजङ**१ ॥ ५ खडणी नदवङ्गtश्च
鱲 ৰু জিনী চঞ্জঙ্গিগুধিী । क्कैि छर्थ भछिदुक ४ कृनिकै जिषमकश्च इनप्रची दशकै-शकिी है। थ-14ी थछद्य केब* झुंझै :को कौंथt
कून कह कृ*rथ३ ८कइ माहैि ८डाथी बहें
. पछी किको करु भा’ छ । . शृकब श्वश्च द छछू * चडिक क्षवक्ष
४महे भडि (शहेि भा भाधारक ॥ ' * रूtश्च ऋ*कही विछ: ולד মাৰি আগ
গুণগো দাজিক লেখী
शिक्छींट्स कtनक कचों
ङt*ीथ्trधकांकूड़tन
दिइइनि bक्ञश्वरक
शनि कष्टह जूझ्यt* कड़ जथि छेकिंछ tद कांच ॥
ৱিশিৰোগে কৰে দেখt ८फैरव श्रृंचड शूदबाब *
कूकि नर्थौsड छषा ८कौङ्कtक कच्चtइ छांकरवन ?
♚करेिञ्चश्चम eरन क्व छर मिथ ब्रड-व्हन ?
wenssisssuests=*
বিদ্যার বাঁসরসজ্জা ।
श्रृश्व होद अझझी छात्र बार्ने क्लर्षौं ? खङ्ग८थथिपू* कहक कgञ** रुचदf? ? इ¥ इई छाकिडा थाप्ने इई नारक्ष । कृश्रृश्झैो दिस्रादह्रो बरज stञ हुन । खक अंक भिवश विश्रड अर्थी कीरथ । এই ফটে দেখ এলে ফেলে হেগে জ্ঞাকে : हछौ न झुछि प्लेग्रोज झिकक बच ि! कच्नारद भूदिङ ब्र५थ श्यानिड बादि । "
छक्राङ्गद; भाधाभकि ब*** कxजोंदवा ? লঙ্কজাঙ্ক জিভি ৰজোম সকল । স্বপূৰ্ণ গঙ্কেশ মামে এঙ্গাইচৰাল । दन किंबि शूछि हरि कृ* कौड इयl ॥ नाडीझेण दाईंधक क* र नrछि दिछी : छचरक शूदरूचय प्ररथ कtव औकt * ८कोके छश झीको ठू१ क*rदत्र नच । °झोझ क्राहरूल लेख अनबन्न ? कानांख* अरकन इ इव कच्दी । ुभक्त क्लक्ष्मभरक चारवाछि श्रृी कब्लिक-बाणकी-बाजt छकt***kद्ध t ংৰsখুৰী-য়েন্ধ ঘছে সখিৰঙ্গর । अनाrण अभद्रा हटा कर्णौ कृ*ांडहै ? चथि छूद्र शमशान थामैोइड कहे ॥
- aww;
वैिश्व खशबडैौख्रष । अष कविरु - shuf zarro छूलक श्रह ह